जशपुर,टीम पत्रवार्ता,05 सितंबर 2024
आज बगीचा नगर पंचायत में परिषद की बैठक हुई जिसमें जमकर हंगामा हुआ।एक दो एजेंडे पर चर्चा के बाद जब पार्षदों ने सीएमओ से सवाल पूछना शुरु किया तो बिना जवाब दिए सीएमओ बाहर चले गए और कई घंटों तक बुलाने के बाद भी परिषद की बैठक में नहीं आए।इसके बाद पार्षदगण ने एकमत होकर बगीचा सीएमओ एमपी तिवारी के विरुद्ध निंदा प्रस्ताव पारित कर स्थानांतरण की मांग कर डाली।
जब मामला शासन प्रशासन तक पहुंचा तो स्थानीय एस डी एम ओंकार यादव एवं तहसीलदार सुनील अग्रवाल परिषद की बैठक में पहुंचे और मामले की जानकारी लेकर पार्षदों को संतुष्ट करते हुए एक हफ्ते बाद परिषद की बैठक पुनः कराए जाने को बात कही।
यहां नगर पंचायत अध्यक्ष डॉ सीडी बाखला ने एसडीएम ओंकार यादव को बताया कि एजेंडा वार चर्चा के दौरान सवालों का जवाब सीएमओ नहीं दे पाए और यहां से बाहर निकल गए।नगर पंचायत उपाध्यक्ष प्रमोद गुप्ता ने अपनी बात रखते हुए कहा कि नगर पंचायत के विकास कार्य अधूरे पड़े हैं,शासन के अधोसंरचना के कार्यों का टेंडर नहीं हो पाया है,जन समस्या निवारण शिविर के आवेदन अब तक पेंडिंग पड़े हुए हैं।ऐसे तमाम मामलों को लेकर सीएमओ से जानकारी चाही गई जो परिषद के समक्ष नहीं रखी गई।
पार्षदों ने परिसीमन की जानकारी चाही तो बताया गया कि पूर्व आरआई मोहन यादव के पास समस्त जानकारी है।जिसपर नगर पंचायत उपाध्यक्ष प्रमोद गुप्ता ने आरआई मोहन यादव को फोन कर इसकी पुष्टि की तो मोहन यादव ने बताया कि उन्होंने सीएमओ को सारी जानकारी दे दी है।
अब पुनः जब तक सीएमओ से कुछ पूछ पाते वे परिषद की बैठक छोड़ नगर पंचायत के गेट से बाहर निकल गए और फिर वापस नहीं आए।
इधर खबर है कि सीएमओ ने शासन को पत्र लिखकर अलग ही कहानी बयां की है जिसमें बताया गया है कि परिसीमन संबंधी सवाल पूछकर गेट बंद करवाया गया था।जिसके कारण अशांति के डर से वे ताला खुलवा कर बाहर निकल गए।
बहरहाल मामले में नगर पंचायत उपाध्यक्ष प्रमोद गुप्ता ने बताया कि अन्य लोगों की आवाजाही लगातार होती है परिषद की बैठक में व्यवधान होता है इसलिए भृत्य ने ताला बंद किया था।सीएमओ स्वयं ताला खुलवाकर बाहर गए हैं।
मामले में पार्षदों ने एसडीएम ओंकार यादव के सामने सारी बातें रखीं। एस डी एम ने स्थानीय कार्यालय के कर्मचारियों से इसकी पुष्टि भी की।जिसके बाद आगामी सप्ताह में पुनः परिषद की बैठक कर एजेंडा पर चर्चा की बात कर उन्होंने पार्षदों को संतुष्ट किया।हालाकि पार्षदों ने सीएमओ के इस कृत्य को जनप्रतिनिधियों का सीधा अपमान बताते हुए निंदा प्रस्ताव पारित किया है।
सी एम ओ मुद्रिका तिवारी ने संचालक को पत्र लिखकर जो भी आरोप लगाए हैं उसे पार्षदों ने बेबुनियाद बताते हुए निराधार बताया है।
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