... सरोकार : छत्तीसगढ़ में अंगदान के लिए स्पेशल सेल,450 से अधिक लोगों ने ली अंगदान की शपथ,6 लोगों ने किया अंगदान,विभाग ने अंगदान करने वाले परिवारों को प्रदेश स्तर पर सम्मानित करने भेजा प्रस्ताव।

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सरोकार : छत्तीसगढ़ में अंगदान के लिए स्पेशल सेल,450 से अधिक लोगों ने ली अंगदान की शपथ,6 लोगों ने किया अंगदान,विभाग ने अंगदान करने वाले परिवारों को प्रदेश स्तर पर सम्मानित करने भेजा प्रस्ताव।

रायपुर,टीम पत्रवार्ता,10 जनवरी 2024

BY योगेश थवाईत

छत्तीसगढ़ में यदि आप अंगदान करना चाहते हैं तो अब निश्चित होकर आप किसी अन्य के जीवन को रोशन करने के लिए अंगदान कर दूसरों का जीवन संवार सकते हैं।स्टेट ऑर्गन एंड टिश्यू ट्रांसप्लांट आर्गेनाइजेशन (राज्य अंग एवं उत्तक प्रत्यारोपण संगठन) एक ऐसी सरकारी संस्था जो आम जनता, हॉस्पिटल और सरकारी संस्थानों के बीच काम करती है।छत्तीसगढ़ में लगभग 466 अंगदान की शपथ लोग ले चुके हैं। वहीं 6 लोगों ने अंगदान कर मिसाल कायम किया है।सोट्टो ने अंगदान करने वालों के परिवारों को प्रदेश स्तर पर सम्मानित करने के लिए शासन को प्रस्ताव भेजा है।इससे अन्य लोग अंगदान के लिए प्रेरित होंगे।

बात करें sotto की तो जिस भी इंसान को अंगों की ज़रूरत होती है वो हॉस्पिटल में अपने अंगदान के लिए रजिस्टर करवाते है और फिर उनके हॉस्पिटल से उनका पंजीयन सोट्टो के अंतर्गत प्रत्यारोपण के लिए करवाया जाता है। 

सोट्टो मूलतः कैडेवर डोनेशन मतलब मरीज़ के ब्रेन डेथडिक्लेअर होने के बाद उनके अंगों को दान करने की प्रक्रिया करवाने वाला संगठन है। जब किसी मरीज़ को ब्रेन डेथ डिक्लेअर कर दिया जाता है उस वक़्त से कुछ टेस्ट किये जाते है उसके बाद उनकी मृत्यु होने के कुछ वक़्त पहले ही जब शरीर लगभग ख़तम होने अवस्था में होता है तब उनके अंगों को रिट्रीव किया जाता है और हर अंग का अपना एक समय होता है जिसके अंदर उसे दानी के शरीर से निकाल कर ज़रूरत मंद के शरीर में लगवाना अनिवार्य होता है। 

अभी तक छत्तीसगढ़ में 6 कैडेवर डोनेशन हो चुके है जिसमें 11 किडनी ट्रांसप्लांट की गयी व 5 लिवर ट्रांसप्लांट हुआ है। जिसमें से 1 लिवर को ग्रीन कॉरिडोर बनाकर नागपुर भेजा जा चुका है।

SOTTO छत्तीसगढ़ का पहला संस्थान

प्रत्यारोपण की आवश्यकता वाले असाध्य रूप से बीमार रोगियों की प्रतीक्षा सूची बनाए रखने के साथ प्रत्यारोपण केंद्रों, पुनर्प्राप्ति केंद्रों और ऊतक बैंकों के साथ sotto नेटवर्किंग स्थापित करता है।औषधीय-कानूनी पहलुओं सहित अंगों और ऊतकों की खरीद के लिए आवश्यक सभी गतिविधियों के लिए समन्वय स्थापित करने का काम भी यह संस्थान करता है।

सोट्टो में छत्तीसगढ़ के 18 अस्पताल शामिल हैं। और जब भी किसी अस्पताल में डिसीज्ड पेशेंट आते हैं और उनका अंगदान होना होता है तब उस अस्पताल की तरफ से अलर्ट आता है और उस हिसाब से सोट्टो और बाकी अस्पताल सक्रिय हो जाते हैं और फिर जिस अस्पताल मै डोनोर मौजूद होता है तब एक ऑर्गन डोनर हॉस्पिटल को मिलता है और sotto में उनके वेटिंग लिस्ट के अनुसार उस हॉस्पिटल की प्रायोरिटी लिस्ट बनती है बाकी ऑर्गन पूल में जाते है मतलब  दूसरे हॉस्पिटल के लिए फिर बाकी पेशेंट के नाम की प्रायोरिटी लिस्ट बनती है जिनको ऑर्गन प्रोवाइड किया जाता है । उसके बाद पेशेंट की उपलब्धता के हिसाब से ट्रांसप्लांट किया जाता है।

सोट्टो के शुरुवाती दौर से डॉक्टर विनीत जैन (डायरेक्ट), डॉक्टर राजिमवाला (नोडल ऑफिसर) और डॉक्टर अजीत मिश्रा (ज्वाइंट डायरेक्टर) जुड़े रहे हैं जिन्हें सोट्टो की बागडोर दी गईं है।वर्तमान में सोटो के निदेशक प्रोफेसर डॉ विनीत जैन,डी एच एस नोडल अधिकारी डॉ कमलेश जैन सह निदेशक डॉ वरूण अग्रवाल,आईईसी मीडिया कंसल्टेंट गीतिका ब्रम्हभट हैं जो सतत अपनी सेवाएं दे रहे हैं।

रायपुर कलेक्टर गौरव कुमार सिंह ने बताया कि अंगदान करने वाले परिवारों को चिन्हित कर उन्हें आगामी 26 जनवरी में प्रदेश स्तर पर सम्मानित करने की पहल की जाएगी।



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