रायपुर,टीम पत्रवार्ता,24 अप्रैल 2022
BY योगेश थवाईत
छत्तीसगढ़ में 40 प्रतिशत कांग्रेस विधायकों के खराब प्रदर्शन ने प्रदेश कांग्रेस की नींद उड़ा दी है।लिहाजा सीएम की अध्यक्षता में समन्यव समिति की बैठक का आयोजन हुआ जिसमें सीएम भूपेश बघेल ने विधायकों को सक्रियता बढ़ाने की हिदायत दी है वहीँ संगठन को सरकार से समन्वय कर काम करने को कहा गया है।छत्तीसगढ़ में सरकार और संगठन में तालमेल को लेकर बनाई गई कांग्रेस के प्रदेश समन्वय समिति की बैठक शनिवार को हुई। इसमें पार्टी के प्रदेश प्रभारी पीएल पुनिया, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम सहित वरिष्ठ नेता और पदाधिकारी शामिल हुए थे।
दरअसल चुनाव से ठीक डेढ़ साल पहले कांग्रेस ने वर्तमान विधायकों को लेकर एक सर्वे कराया है।जिसमें समन्वय समिति ने चिंता जताई है। मुताबिक लगभग 40 प्रतिशत से अधिक विधायकों की रिपोर्ट खराब बताई जा रही है।कांग्रेस समन्वय समिति की शनिवार रात हुई बैठक में विधायकों के परफार्मेंस रिपोर्ट पर चर्चा हुई है जिसके बाद
रविवार को प्रेस से चर्चा में सीएम भूपेश बघेल ने साफ़ शब्दों में कहा है कि अभी समय है स्थिति में सुधार कर सकते हैं,आत्मावलोकन की आवश्यकता है।अपने कार्य व्यवहार के माध्यम से अपनी स्थिति बदल भी सकते हैं।
कांग्रेस के सूत्रों ने बताया, बैठक के दौरान विधायकों की परफॉर्मेंस रिपोर्ट पर बात हुई है। जो काफी चिंताजनक है।कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम ने इस रिपोर्ट के हवाले से कहा कि
सरकार में रहते हुए भी कई विधायक संगठन की ओर से सौंपे काम नहीं कर रहे हैं। क्षेत्रों में सरकार की योजनाओं को लेकर भी कुछ विधायकों पर सवाल उठे हैं। सदस्यता अभियान के दौरान भी विधायकों ने रुचि नहीं ली। सबसे खराब स्थिति बस्तर और सरगुजा क्षेत्र के विधायकों की बताई गई।
दरअसल कुछ विधायक संगठन को साथ लेकर नहीं चल रहे और अंदरखाने से खबर है कि ऐसे विधायको को आगामी विधानसभा चुनाव में टिकट के लिए कड़ी मशक्कत करनी पड़ सकती है।संगठन की कारण उन्हें बाहर का रास्ता भी देखना पड़ सकता है।
बताया जा रहा है,कि पीएल पुनिया ने साफ शब्दों में कहा कि 2023 के विधानसभा चुनाव के लिए विधायकों को सक्रियता बढ़ानी हाेगी। उन्होंने संगठन को भी सरकार से समन्वय कर पार्टी और सरकार के कार्यक्रमाें को लोगों के बीच ले जाने की हिदायत दी है।
जल्द हटेंगे निष्क्रिय पदाधिकारी
समन्वय समिति की बैठक से ठीक पहले हुई कांग्रेस के मोर्चा-प्रकोष्ठों की समीक्षा के दौरान निष्क्रिय पदाधिकारियों का मामला सामने आया था। जिला अध्यक्षों के प्रदर्शन की भी एक-एक कर समीक्षा हुई। इस दौरान कई संगठनों के पदाधिकारियों के काम नहीं करने की बात आई। वहीँ जिलाध्यक्षों को संगठन स्तर पर कार्य करने की हिदायत दी गई।समीक्षा के दौरान महिला कांग्रेस की रिपोर्ट बहुत संतोषजनक नहीं बताई गई। उन्हें महंगाई के खिलाफ आंदोलन करने के निर्देश हुए। कहा गया, महिला संबंधी मुद्दों को लेकर संगठन लोगों के बीच जाए। किसान कांग्रेस को भी गोठानों की गतिविधियों और योजनाओं की निगरानी का निर्देश दिया है।
प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम ने संगठन की समीक्षा कर ऐसे निष्क्रिय पदाधिकारियों को हटाने के निर्देश दिए हैं।
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